CHANDIGARH: पंजाब-हरियाणा विधानसभा परिसर में आज वो हुआ, जो कभी नहीं हुआ था। शिरोमणि अकाली दल के नेताओं ने हरियाणा विधानसभा का सत्र खत्म होने के बाद आज हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के घेराव की कोशिश करते हुए खट्टर को काले झंडे दिखाकर नारेबाजी की। इसको लेकर हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष ज्ञानचंद गुप्ता ने पंजाब विधानसभा अध्यक्ष राणा केपी सिंह को बाकायदा पत्र लिखकर कड़ी आपत्ति जताई। इसके बाद पंजाब विधानसभा अध्यक्ष राणा केपी सिंह ने इस घटनाक्रम पर खेद भी व्यक्त किया है।
खट्टर का घेराव करना चाहते थे अकाली नेता
बता दें कि हरियाणा विधानसभा का सत्र खत्म होने के बाद विधानसभा परिसर में ही जब मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर मीडिया से बातचीत कर रहे थे तो अचानक शिअद नेता एवं पूर्व मंत्री बिक्रम ङ्क्षसह मजीठिया के नेतृत्व में अकाली नेताओं ने केंद्र सरकार के तीन नए कृषि कानूनों को लेकर हरियाणा के मुख्यमंत्री खट्टर को काले झंडे दिखाते हुए नारेबाजी शुरू कर दी। वह खट्टर का घेराव करना चाहते थे लेकिन सुरक्षा कर्मियों ने उन्हें रोक लिया और मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को तुरंत वहां से निकालकर उनकी कार में बैठाया। इसके बाद खट्टर विधानसभा परिसर से रवाना हो गए।
पंजाब विधानसभा अध्यक्ष ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकें: ज्ञानचंद गुप्ता
इस घटनाक्रम पर विधानसभा स्पीकर ज्ञानचंद गुप्ता ने कड़ा संज्ञान लिया है। उनका कहना है कि विधानसभा परिसर में पंजाब के नेताओं का यह व्यवहार गलत और अस्वीकार्य है। इस तरह की परिपाटी विधानसभा परिसर में आपसी भाईचारे व सौहार्द को प्रभावित कर सकती है। गुप्ता ने पंजाब विधानसभा अध्यक्ष से इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए कहा है। गौरतलब है कि चंडीगढ़ में पंजाब और हरियाणा विधानसभा का एक ही परिसर है और विधायकों व मंत्रियों के आने-जाने का भी एक ही रास्ता है।