कोरोना पर न दिखाएं लापरवाही: पंजाब में कोरोना से मौत की उच्च दर का कारण इलाज में देरी

कोविड-19 के गंभीर लक्षणों वाले 77.90 प्रतिशत लोग इलाज के लिए देरी से अस्पताल पहुंचे

CHANDIGARH: पंजाब में कोविड-19 के बढ़ते मामलों और उच्च मृत्यु दर (सी.एफ.आर.) के मद्देनजऱ स्वास्थ्य मंत्री स. बलबीर सिंह सिद्धू ने आज समूह सिविल सर्जनों को हिदायत की कि वह कोविड-19 के गंभीर मरीज़ों को सरकारी स्वास्थ्य संस्थाओं में जल्द इलाज करवाने के लिए पे्ररित करें।

लक्षण पाए जाने वाले व्यक्ति जो आम तौर पर स्वास्थ्य सुविधाओं को रिपोर्ट करने में असफल रहते हैं पर चिंता ज़ाहिर करते हुए स. सिद्धू ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग की डैथ रिविऊ टीम के अनुसार कोविड-19 के गंभीर लक्षणों वाले 77.90 प्रतिशत मामले अस्पतालों में इलाज के लिए देरी से आते हैं, जोकि कोविड की उच्च मृत्यु दर का बड़ा कारण है।

उन्होंने कहा कि सभी नागरिकों की नैतिक जि़म्मेदारी बनती है कि अगर किसी को कोविड-19 के लक्षण महसूस होते हैं तो उसको इलाज लेने में देरी नहीं करनी चाहिए और अपना टैस्ट करवाने के लिए तुरंत सरकारी स्वास्थ्य संस्थाओं में जाना चाहिए, जिससे कोरोना पॉजि़टिव मरीज़ों का इलाज समय पर किया जा सके। स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि कोविड-19 के फैलाव का असली स्तर अक्सर उच्च जोखि़म वाली आबादी द्वारा नजऱअंदाज़ किया जाता है।

इसी कारण, गंभीर लक्षण वाले लोगों का पता नहीं चलता और वह स्वास्थ्य संस्थाओं में इलाज नहीं करवा पाते। कोविड-19 के पॉजि़टिव मामलों और ग्रामीण/शहरी आबादी की रिपोर्ट की गई मौतों के विवरण साझे करते हुए उन्होंने आगे कहा कि जनवरी से फरवरी 2021 के दौरान शहरी आबादी में से 71.40 प्रतिशत मामलों की पुष्टि हुई है और ग्रामीण आबादी में से सिफऱ् 28.60 प्रतिशत मामले सामने आए हैं, परन्तु शहरी आबादी में 45.50 प्रतिशत मौतें रिपोर्ट की गई हैं, जो ग्रामीण आबादी की अपेक्षा बहुत कम हैं, जहाँ यह 54.50 प्रतिशत हैं।

इसके साथ ही यह भी सामने आया है कि सह-रोगों वाले व्यक्ति ग्रामीण क्षेत्रों के अस्पतालों में कोविड-19 की गंभीर और एडवांस्ड अवस्था में इलाज के लिए आए और उन्होंने कोविड-19 के मरीज़ों से अपील की कि वह स्वास्थ्य सम्बन्धी किसी भी मामले में तुरंत अस्पताल के साथ संपर्क करें। कोविड-19 से होने वाली मौतों की आयु-वार वितरण के बारे में बताते हुए स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि यह भी चिंता का विषय है कि 80 प्रतिशत से अधिक मौतें बुज़ुर्गों से सम्बन्धित हैं।

उन्होंने कहा कि 31.70 प्रतिशत मौतें 61-70 साल के मरीज़ों से, 31.50 प्रतिशत मौतें 70 साल से अधिक उम्र के मरीज़ों से और 20.30 प्रतिशत मौतें 51-60 साल के मरीज़ों से सम्बन्धित हैं। स. सिद्धू ने लोगों को मुफ़्त टीकाकरण मुहिम का अधिक से अधिक लाभ लेने की अपील की और कहा कि सभी योग्य लाभार्थियों को जल्द से जल्द टीका लगवाना चाहिए। 

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